सिनेमा की दुनिया में आज हर बड़े सेलिब्रिटी के पास अपना खुद का वैनिटी वैन है। शाहरुख खान से लेकर सलमान खान तक और राम चरण से लेकर नयनतारा तक, सिनेमा की दुनिया में ऐसे भी सितारे हैं, जिन्होंने करोड़ों रुपये खर्च कर लग्जरी वैनिटी वैन बनवाए हैं। हैदराबाद से लेकर मुंबई तक फिल्म सिटी में अब वैनिटी वैन की भरमार है। कुछ सितारे किराये पर भी वैनिटी वैन लेते हैं। वैनिटी वैन एक्टर्स और एक्ट्रेसेस के लिए वो जगह है, जहां वह आराम करते हैं, मेकअप करते हैं, कपड़े बदलते हैं, रिहर्सल करते हैं, अपने डायलॉग्स याद करते हैं। लेकिन एक वक्त ऐसा भी था जब फिल्मी दुनिया में वैनिटी वैन कल्चर नहीं था। आशा पारेख से लेकर बीते जमाने की कई दिग्गज एक्ट्रेसेस यह दर्द बयान कर चुकी हैं कि उन्हें शूट के वक्त पेड़ के पीछे जाकर कपड़े बदलने पड़ते थे। जाहिर तौर पर एक्टर्स से ज्यादा तब एक्ट्रेसेस को परेशानी होती थी। लेकिन क्या आप जानते हैं कि देश में वो पहली सेलिब्रिटी कौन थीं, जो वैनिटी वैन लेकर सेट पर पहुंची थीं? या यह कह लीजिए कि वो कौन है, जिसने भारतीय सिनेमा की दुनिया में वैनिटी वैन कल्चर की शुरुआत की? आइए, तसल्ली से बताते हैं।
पूनम ढिल्लन को बधाई देने लगे थे एक्टर्स-एक्ट्रेसेस
पूनम ढिल्लन ने लिखा था, 'तब मैं यकीनन यह नहीं जानती थी कि मैं फिल्म इंडस्ट्री में इतिहास बनाने जा रही हूं। जब मैंने पहली बार अपने मेकअप वैनिटी वैन की शुरुआत की तो कई लोगों ने इसे अचरच से देखा था।' पूनम ढिल्लन ने एक इंटरव्यू में कहा था, 'जरूरत सबकी थी। जब मैंने वैनिटी वैन बनवाई तो धीरे-धीरे कई कलाकार मेरे पास आए और उन्होंने मुझे इस कॉन्सेप्ट को फिल्म इंडस्ट्री में लाने के लिए धन्यवाद दिया। उन दिनों शूटिंग के दौरान लोकेशन पर बहुत परेशानी होती थी। कई बार शूटिंग ऐसे इलाकों में होती थी, जहां न अच्छे टॉयलेट थे, न कपड़े बदलने के लिए कोई अच्छी जगह। खाना खाने की जगह नहीं मिलती थी। शूट खत्म हो जाता था तो हम आर्टिस्ट्स को धूप और धूल में ही समय काटना पड़ता था।'